31 जुलाई 2025 को भारतीय शेयर बाज़ार में तेज़ गिरावट देखी गई। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारत पर 25% टैरिफ की घोषणा के बाद निवेशकों में डर का माहौल है। निफ्टी 24,800 के नीचे बंद हुआ जबकि सेंसेक्स में 296 अंक की भारी गिरावट दर्ज की गई।
आज के बाज़ार की मुख्य बातें
शेयर बाज़ार के आंकड़े:
- सेंसेक्स: 81,185.58 (-296.28 अंक, -0.36%)
- निफ्टी 50: 24,768.35 (-86.70 अंक, -0.35%)
- निफ्टी बैंक: 55,961.95 (-188.75 अंक, -0.34%)
- जुलाई महीने का नुकसान: सेंसेक्स और निफ्टी दोनों में लगभग 3% की गिरावट
ट्रंप के टैरिफ का प्रभाव – क्या है पूरा मामला?
अमेरिकी राष्ट्रपति की घोषणा:
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बुधवार को भारत पर 25% टैरिफ लगाने की घोषणा की है। इसके साथ ही रूसी सैन्य उपकरण और तेल खरीदने के लिए अतिरिक्त जुर्माना भी लगाया गया है। यह सब 1 अगस्त की समय सीमा से पहले प्रभावी होगा।
विशेषज्ञों की राय:
- शंकर शर्मा के अनुसार: बाज़ारों पर कोई दीर्घकालिक प्रभाव नहीं पड़ेगा
- अजय बग्गा का मानना: यह केवल बातचीत की रणनीति है, वास्तविक टैरिफ 15% के आसपास हो सकता है
- LGT के स्टीफन होफर: GDP विकास दर में 25 आधार अंक की कमी और निफ्टी की कमाई में 2-3% की गिरावट संभव
सेक्टर-वार प्रदर्शन – कौन सा सेक्टर रहा टॉप पर?
सबसे अच्छा प्रदर्शन:
- FMCG सेक्टर: +1.4% की बढ़त के साथ टॉप परफॉर्मर
सबसे खराब प्रदर्शन:
- फार्मा सेक्टर: -1.31% की गिरावट
- IT सेक्टर: -0.5% से -1.8% तक की गिरावट
- मेटल सेक्टर: भारी नुकसान
- ऑयल & गैस सेक्टर: नकारात्मक प्रदर्शन
- PSU बैंक: गिरावट का शिकार
टॉप गेनर्स और लूज़र्स – किसका रहा दिन?
दिन के सबसे बड़े विजेता:
- HUL (हिंदुस्तान यूनिलीवर): +3.44% (₹2,521.20)
- जियो फाइनेंशियल सर्विसेज: लगभग +3% (प्रमोटर्स से फंड इन्फ्यूजन)
- केन्स टेक्नोलॉजी: +10% (मजबूत प्रॉफिट ग्रोथ)
- सागिलिटी इंडिया: +10% (566% प्रॉफिट ग्रोथ)
- ITC, JSW स्टील, इटर्नल भी प्रमुख गेनर्स में शामिल
दिन के सबसे बड़े हारे:
- अदानी एंटरप्राइजेज: -4.03% (₹2,430.70)
- रिलैक्सो फुटवियर्स: -5% (कमाई के बाद गिरावट)
- सोनाटा सॉफ्टवेयर: -5% (अर्निंग्स के बाद निराशा)
- डॉ. रेड्डीज लैब्स: भारी नुकसान
- अदानी पोर्ट्स, टाटा स्टील, सन फार्मा भी लूज़र्स में
फेडरल रिजर्व की नीति – ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं
अमेरिकी फेडरल रिजर्व की फेडरल ओपन मार्केट कमिटी (FOMC) ने ब्याज दरों को 4.25% से 4.5% के बीच अपरिवर्तित रखने का फैसला किया है। हालांकि दो सदस्यों का मानना था कि दरों में 25 आधार अंक की कटौती की जानी चाहिए।
52-सप्ताह के उच्चतम स्तर पर पहुंचे शेयर
आज 120 से अधिक स्टॉक्स ने BSE पर अपने 52-सप्ताह के उच्चतम स्तर को छुआ, जिनमें शामिल हैं:
- HEG
- श्नाइडर इन्फ्रा
- कोरोमंडल इंटरनेशनल
- नुवोको विस्टास
- फोर्टिस हेल्थकेयर
- महाराष्ट्र स्कूटर्स
- बॉश
- ICICI बैंक
- रामको सीमेंट्स
तकनीकी विश्लेषण – 1 अगस्त के लिए आउटलुक
श्रीकांत चौहान (कोटक सिक्योरिटीज) की राय:
- सपोर्ट लेवल: 24,650/80,800 और 24,600/80,600
- रेजिस्टेंस लेवल: 25,000/81,900 और 25,050/82,200
- सलाह: जब तक सपोर्ट लेवल के ऊपर है, तब तक पुलबैक जारी रह सकता है
अजीत मिश्रा (रिलिगेयर ब्रोकिंग) के सुझाव:
- नई सीरीज की शुरुआत में बाज़ार कंसोलिडेशन में रह सकता है
- ग्लोबल डेवलपमेंट और कॉर्पोरेट अर्निंग्स से वोलेटिलिटी जारी रहेगी
- स्टॉक-स्पेसिफिक अप्रोच अपनाने की सलाह
- नुकसान वाली पोजीशन में औसत न निकालें
रुपक दे (LKP सिक्योरिटीज) का तकनीकी दृष्टिकोण:
- निफ्टी 50 EMA के नीचे कारोबार कर रहा है, जो बेयरिश ट्रेंड की पुष्टि करता है
- RSI बेयरिश क्रॉसओवर में है
- छुपे हुए पॉजिटिव डाइवर्जेंस के संकेत मिल रहे हैं
- रेंज: 24,600-25,000 के बीच रेंज-बाउंड मूवमेंट की उम्मीद
निवेशकों के लिए महत्वपूर्ण सुझाव
तत्काल रणनीति:
- सावधानी बरतें: वर्तमान में बाज़ार में अस्थिरता है
- स्टॉक-स्पेसिफिक अप्रोच: सेक्टर के आधार पर चुनिंदा निवेश करें
- रिस्क मैनेजमेंट: नुकसान वाली पोजीशन में औसत न निकालें
- डेली ट्रेडिंग: 24,600 के नीचे जाने पर लॉन्ग पोजीशन से बाहर निकलें
दीर्घकालिक दृष्टिकोण:
- ट्रंप के टैरिफ का वास्तविक प्रभाव बातचीत के बाद कम हो सकता है
- FMCG सेक्टर में मजबूती के संकेत
- घरेलू विकास दर पर फोकस रखें, बाहरी कारकों से न घबराएं
आने वाले दिनों की संभावनाएं
अगस्त महीने की शुरुआत:
- 1 अगस्त से ट्रंप टैरिफ प्रभावी
- Q1 FY26 के नतीजों का सीजन
- फेड की नीति का प्रभाव
- घरेलू कंपनियों की अर्निंग्स
मुख्य चुनौतियां:
- अमेरिकी टैरिफ का वास्तविक प्रभाव
- रूसी तेल आयात पर पेनाल्टी
- ग्लोबल इकॉनमिक अनसर्टेंटी
- घरेलू इन्फ्लेशन प्रेशर
आज का बाज़ार सेशन दिखाता है कि भारतीय शेयर बाज़ार अभी भी ग्लोबल घटनाओं से प्रभावित होता है। ट्रंप के टैरिफ की घोषणा ने तत्काल प्रभाव डाला है, लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि यह ज्यादा बातचीत की रणनीति है।
निवेशकों को सलाह दी जाती है कि वे जल्दबाजी में फैसले न लें और रिस्क मैनेजमेंट को प्राथमिकता दें। FMCG सेक्टर में दिखी मजबूती और कई स्टॉक्स का 52-सप्ताह के हाई पर पहुंचना सकारात्मक संकेत हैं।
अगले कुछ दिन बाज़ार के लिए महत्वपूर्ण होंगे जब वास्तविक टैरिफ नीति का असर दिखेगा और Q1 FY26 के नतीजे आना शुरू होंगे।
जोखिम चेतावनी: शेयर बाज़ार में निवेश जोखिम के अधीन है। निवेश से पहले प्रमाणित वित्तीय सलाहकार से सलाह लें।